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परवलिया@उमेश पाटीदार
बेटियों के सम्मान और विश्व शांति के उद्देश्य से प्रतिवर्ष आयोजित होने वाली मां कालका माता की पैदल यात्रा इस बार भी पूरी श्रद्धा और उत्साह के साथ निकाली गई। सातरूंडा से प्रारंभ हुई इस यात्रा में 500 से अधिक श्रद्धालु, जिनमें पुरुष, महिलाएं और बच्चे शामिल थे, पावागढ़ के लिए रवाना हुए। यात्रा ने अपने 8वें वर्ष में भी समुदाय को एकजुट करने और धार्मिक आस्था को बढ़ावा देने का संदेश दिया।
पैदल यात्रा रविवार सुबह 8 बजे परवलिया के समीप ग्राम झापादरा पहुंची, जहां मल्लाभाई भगत द्वारा यात्रियों के रुकने और भोजन की व्यवस्था की गई। इस अवसर पर झापादरा और परवलिया की धर्मप्रेमी जनता ने यात्रियों की सेवा में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया।
विशेष अतिथियों की उपस्थिति
समारोह में बालूभाई चरपोटा, दिनेश पाटीदार, मालसिंह चरपोटा, मयंक पाटीदार, अभिषेक पवार, पवन पाटीदार, अजय पाटीदार और रमेशभाई चरपोटा विशेष रूप से उपस्थित रहे। उन्होंने श्रद्धालुओं को शुभकामनाएं दीं और इस यात्रा को सामाजिक एकता का प्रतीक बताया।
सामूहिक प्रयास और उत्साह
झापादरा और परवलिया की जनता ने सामूहिक रूप से भोजन, पानी और ठहरने की व्यवस्था में सहयोग दिया। इस यात्रा ने बेटियों के सम्मान और सामूहिक सेवा के महत्व को फिर से उजागर किया।
यात्रा पावागढ़ पहुंचने तक पूरे मार्ग में श्रद्धालुओं का उत्साह और समर्पण देखते ही बनता था। मां कालका माता के जयकारों और भक्ति गीतों से वातावरण पवित्र और दिव्य हो गया।
यात्रा का उद्देश्य और प्रेरणा
विश्व शांति और बेटियों के सम्मान का संदेश देने वाली इस यात्रा ने समाज को एक सकारात्मक दिशा देने का काम किया है। आयोजकों ने भविष्य में भी इसी तरह के आयोजन करने का संकल्प लिया।